Saturday 23 May 2020

'जागरण' की खबरें चुरा कर निकल रहा है 'यशोभूमि'



हमारे देश में 'नंबर वन' होने का दावा कौन-सा अखबार नहीं करता है? कोई राज्य में शीर्ष पर होने का दावा करता है तो कोई शहर में, जबकि देश में भी अपने आप को नंबर वन बताने के लिए अखबारों में होड़ लगी रहती है... आश्चर्य है कि अपने दावे को मजबूती प्रदान करने के लिए ये अखबार जहां अनजानी-सी भी एजेंसियों की सर्वे रिपोर्ट का हवाला दे देते हैं, वहीं उसके आधार पर अपने ही अखबारों में खुद के नंबर वन होने का विज्ञापन भी बड़ी बेशर्मी से प्रकाशित करते हैं!

इसलिए हम यहां पर सबूत के साथ जो खबर देने जा रहे हैं, वह पाठकों की आंखें खोलने के लिए पर्याप्त तो है ही, बहुत महत्वपूर्ण भी है... जी हां, मुंबई में नंबर वन होने का दावा करने वाला 'दैनिक यशोभूमि' नामक समाचार-पत्र इन दिनों बड़ी निर्लज्जता के साथ उस 'दैनिक जागरण' की खबरें चोरी करके प्रकाशित कर रहा है, जो स्वयं को भारत का नंबर वन अखबार बताता है!

जैसा कि आपको पता ही है, वैश्विक महामारी कोरोना वायरस के प्रभाव को रोकने के लिए सम्पूर्ण राष्ट्र में लाकडाउन है, जिसके चलते कई अखबारों का प्रकाशन बंद है तो प्रकाशित हो रहे ज्यादातर अखबारों के कर्मचारियों के लिए वर्क @ ह़ोम लागू है... 'यशोभूमि' भी उन्हीं में से एक है, जिसका दफ्तर कुछ  समय पहले ही मध्य मुंबई से शिफ्ट होकर नवी मुंबई चला गया है! जाहिर है कि लाकडाउन के इस दौर में दूर-दराज के क्षेत्रों में रहने वाले स्टाफ का दफ्तर पहुंचना आसान नहीं है, फिर भी 'यशोभूमि' इस हालात में एक तीर से कई निशाने साध रहा है... अपने कर्मचारियों को कम करने की शरारत से बाज नहीं आ रहा है!

संस्थान के नजदीकी लोगों द्वारा प्रबंधन से संपर्क करने पर टका-सा जवाब दे दिया जाता है कि अभी आने की जरूरत नहीं है, पर यदि कोई दफ्तर में आना ही चाहे तो उसके लिए प्रबंधन का स्पष्ट आदेश है- 'आ जाओ, मगर लिख कर देना पड़ेगा कि यदि 'कुछ' हुआ तो उसके जिम्मेदार तुम खुद रहोगे!' और दूसरे, चाटुकारनुमा उन कर्मचारियों की बदौलत अखबार का प्रकाशन भी नियमित रूप से कर रहा है, जो 'जागरण' सहित उत्तर / मध्य भारत में प्रकाशित होने वाले कई अखबारों- 'अमर उजाला', 'हिंदुस्तान', 'दैनिक भास्कर' आदि की खबरों को चुरा कर ज्यों की त्यों 'यशोभूमि' में इस्तेमाल कर रहा है!

यहां पर संलग्न कटिंग में 'यशोभूमि' की हालिया खबरों पर गौर कीजिए, जो 'जागरण' में अथवा उसकी साइट पर पहले ही प्रकाशित / प्रसारित हो चुकी हैं!

















यह सही है कि हिंदी अखबारों में यहां-वहां से खबरें उठाने की एक पुरानी परंपरा रही है, मगर इतना तो लिहाज रहता ही आया है कि 'साभार' के तहत संबंधित अखबार के प्रति अहसान भी जता दिया जाता है ! यह बात अलग है कि 'यशोभूमि' ने खबर उठाने के बजाय बाकायदा चोरी की है... सेम टु सेम कामा और फुल स्टाप के साथ 'जागरण' के ही शीर्षक से लेकर उसकी फोटो तक का इस्तेमाल धड़ल्ले से करने में मशगूल है, लिहाजा अब की बार मामला बिगड़ता नज़र आ रहा है ! पता चला है कि 'जागरण' के मुंबई ब्यूरो द्वारा कानपुर स्थित अपने मुख्यालय को यह सबूत भेज दिया गया है और आगे की कार्रवाई के लिए 'जागरण' की लीगल टीम शीघ्र ही 'यशोभूमि' के खिलाफ सख्त कदम उठा सकती है!

-मुंबई से दीपक भैया की रिपोर्ट

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