Wednesday 26 January 2022

मजीठिया: हाईकोर्ट ने दिए समझौता अधिकारी नियुक्त करने के आदेश, दलाल सक्रिय!


कोटा वाले केस में राजस्थान हाईकोर्ट की डबल बेंच ने समझौता अधिकारी अप्वॉइंट करने के आदेश दिए हैं और 14 फरवरी से पहले दोनों पक्षों को समझौते करने की सलाह दी है। 

इस फैसले के साथ ही दैनिक भास्कर के दलाल और प्रबंधन के लोग सक्रिय हो गए हैं कि इन कर्मचारियों को श्रम न्यायालय कोटा के फैसले का लाभ नहीं मिल पाए। इन दलालों की वजह से ही पहले दैनिक भास्कर के कर्मचारियों को मजीठिया वेतन आयोग का लाभ नहीं मिल पा रहा था। दैनिक भास्कर के दलाल और दैनिक भास्कर का प्रबंधन दोनों इस बात को समझते हैं कि उन्हें श्रम न्यायालय कोटा के फैसले की पालना तो करनी ही होगी। इस कारण अब इस केस को किसी भी तरह से येन केन प्रकारेण लटकाने में लगे हुए है। कर्मचारियों को श्रम न्यायालय कोटा के मजीठिया वेतन आयोग के फैसले का लाभ लेने से वंचित कर रहे हैं दैनिक भास्कर के दलाल हाइकोर्ट के इस फैसले के साथ ही सक्रिय हो गए हैं। इन दलालो में कुछ रिटायर्ड सरकारी कर्मचारी भी हैं जो इस व्यवस्था को मैनेज करने में लगे हुए हैं।

वह किसी भी तरह से कर्मचारियों के पैसे पर डाका डालकर उन्हें 40 लाख रुपये और नौकरी दोनों को लेने से वंचित करने का प्रयास कर रहे हैं। उनका मानना है कि मात्र 4-5 लाख रुपये देकर ही मामले को रफा-दफा करा दिया जाए और किसी तरह से समझौता करा दिया जाए, जिससे कर्मचारी यह लाभ लेने से वंचित रह जाएं। अब अब दैनिक भास्कर के कर्मचारियों के पास यह विकल्प है कि वे या तो सब न्यायालय के फैसले की पालना कराएं और समझौता अधिकारी जो भी नियुक्त हो उसको साफ तौर पर यह कह दे कि उन्हें सब लेबर कोर्ट कोटा के फैसले की यथावत संपूर्ण पालना कराई जाए।  अन्यथा वह सुप्रीम कोर्ट जाकर कंटेंप्ट पिटिशन के जरिए भी इस फैसले को लागू करा सकते हैं, जिससे उन्हें 40 लाख और नौकरी दोनों ही मिलेगी। थोड़ा सा और संघर्ष करने के बाद ही उन्हें कोटा लेबर कोर्ट के फैसले का पूरा लाभ मिल सकता है। इन कर्मचारियों के पास अब दलालों के फोन भी आएंगे और भास्कर प्रबंधन को भी यह पता है कि अगर कोटा के मामले में कर्मचारी सर्वोच्च न्यायालय चले गए तो उनके पास इस फैसले को लागू कराने के सिवाय कोई विकल्प नहीं रहेगा। अब यह कर्मचारियों को सोचना है कि वह इस फैसले की पालना कराएं और 40 लाख और नौकरी लें या फिर कुछ लाख लेकर घर बैठ जाए।

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